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बिहार के पूर्व सीएम तेजस्वी यादव को लंदन में नहीं मिला युवा राजनीतिज्ञ का पुरस्कार, भ्रामक दावा हुआ वायरल

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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

सोशल मीडिया के एक वायरल पोस्ट में बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव की कुछ तस्वीरें शेयर कर दावा किया जा रहा है कि उन्हें लंदन में सबसे युवा राजनीतिज्ञ का पुरस्कार मिला था।

वायरल पोस्ट को सोशल मीडिया पर कई अन्य यूज़र्स ने भी शेयर किया है

वायरल तेजस्वी यादव

फेसबुक पोस्ट के लिंक को यहाँ देखें।

वायरल तेजस्वी यादव
वायरल तेजस्वी यादव

Fact check / Verification

बिहार में विधानसभा चुनाव का दौर चल रहा है, चुनावों के दौरान राजनीतिक दलों द्वारा एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप का सिलसिला चलता ही रहता है, ऐसे में राजनीतिक दल जनता के वोटों को अपने पाले में लाने की तमाम कोशिशें करते हैं।

बिहार चुनावों के दौरान एक दलील जो बहुत सामान्य तौर पर सुनने को मिल जाती है, वो यह कि RJD द्वारा घोषित सीएम पद के उम्मीदवार नौवीं कक्षा फेल हैं। इसी दलील को लेकर सोशल मीडिया पर तेजस्वी यादव की तस्वीर उक्त दावे के साथ खूब वायरल हो रही है।

तेजस्वी यादव को लंदन में युवा राजनीतिज्ञ का पुरस्कार मिला है या नहीं इस बात का सच जानने के लिए हमने अपनी पड़ताल शुरू की। पड़ताल के दौरान हमने सबसे पहले दावे को गूगल पर खोजा। लेकिन खोज में हमें वायरल दावे से संबंधित कोई उचित परिणाम नहीं मिले।

वायरल तेजस्वी यादव

इसके बाद हमने दावे के साथ शेयर हो रही तेजस्वी की तस्वीर को गूगल पर रिवर्स इमेज टूल के माध्यम से खोजना शुरू किया। इस दौरान हमें तेजस्वी यादव की वायरल तस्वीर prabhatkhbar.com नाम की वेबसाइट पर 17 अगस्त साल 2016 को छपे एक लेख में मिली।

वायरल तेजस्वी यादव

लेख के मुताबिक उक्त तस्वीर साल 2016 की है, जब बिहार के तत्कालीन उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने जेनेवा में यूनाइटेड नेशन्स इकॉनामिक कमीशन फॉर यूरोप के डायरेक्टर इरा मोइनर और उनके प्रतिनिधि मंडल से मुलाक़ात की थी।

इसके बाद हमने गूगल पर तेजस्वी यादव की बाकी तस्वीरों को भी रिवर्स इमेज टूल तथा संबंधित कीवर्ड्स के माध्यम से खोजना शुरू किया। खोज के दौरान हमें ट्विटर पर तेजस्वी यादव के आधिकारिक ट्विटर हैंडल द्वारा साल 2016 में किये गए कुछ पोस्ट प्राप्त हुए। इन पोस्टों में वायरल तस्वीरों का जिक्र बखूबी किया गया है।

पड़ताल के दौरान हमें 16 अगस्त साल 2016 को किए गए एक पोस्ट में कुछ तस्वीरें मिली, इन तस्वीरों के उल्लेख में तेजस्वी ने जानकारी दी है कि यह तस्वीरें लंदन के सत्र की है, जहां उन्होंने ICE के सदस्यों के साथ हिस्सा लिया था।

इसके बाद ट्विटर पर 17 अगस्त साल 2016 को तेजस्वी यादव द्वारा किया गया एक और पोस्ट मिला। जहां तेजस्वी द्वारा कुछ और तस्वीरें शेयर कर जानकारी दी गई है कि यह तस्वीरें UNECE और IRF के जेनेवा स्थित मुख्यालय में हुई मीटिंग के दौरान की है।

Conclusion

पड़ताल के दौरान उपरोक्त मिले तथ्यों में कहीं भी किसी भी प्रकार के पुरस्कार वितरण का जिक्र नहीं किया गया है। साथ ही वायरल पोस्ट में शेयर हो रही तस्वीरें भी हालिया दिनों की नहीं बल्कि साल 2016 की हैं।

Result – Misleading

Our Sources

https://www.prabhatkhabar.com/state/bihar/patna/845484

https://twitter.com/yadavtejashwi/status/763674178390200321

https://twitter.com/yadavtejashwi/status/765917851899265028

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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

Nupendra Singh
A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

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