Authors
A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.
Claim-
लॉकडाउन के दौरान अयोध्या में एक बुजुर्ग व्यक्ति की भुखमरी से मृत्यु हो गयी
जानिए वायरल दावा क्या है-
महाराष्ट्र में साधुओं की हत्या के बाद से ही सोशल मीडिया पर साधु-संतों से जुड़ी कई खबरें वायरल की जा रही हैं। इस दौरान सोशल मीडिया में ज़मीन पर पड़े एक बुजुर्ग व्यक्ति की तस्वीर वायरल हो रही है। फोटो शेयर करने वाले यूज़र का दावा है कि कई दिनों से खाना न मिलने के कारण अयोध्या में रहने वाले एक साधु की भुखमरी से मृत्यु हो गयी।
Verification
कोरोना वायरस के रोकथाम के लिए देश में केंद्र सरकार द्वारा 22 मार्च को देश में संपूर्ण लॉकडाउन की घोषणा की गयी थी। जिसके चलते काम की तलाश में देश के कई हिस्सों में गए हज़ारों प्रवासी मज़दूर फंस गए। लॉकडाउन के कारण देश में चल रहे सभी काम ठप हो गए इस दौरान काम पर निर्भर दिहाड़ी मजदूरों का एक बड़ा तबका बेरोज़गार हो गया। इस बीच इंस्टाग्राम पर हमें ज़मीन पर पड़े एक कमज़ोर बुजुर्ग व्यक्ति की तस्वीर प्राप्त हुई जहां बताया गया है कि यह अयोध्या में रहने वाले एक साधु हैं, जिनकी भुखमरी के चलते मृत्यु हुई है। दावे की सत्यता जानने के लिए हमने अपनी पड़ताल आरम्भ की। पड़ताल के दौरान हमें उक्त दावा ट्विटर पर भी प्राप्त हुआ।
पड़ताल में हमने सबसे पहले वायरल तस्वीर को Google पर खोजा। जहां हमें ट्विटर पर 30 अप्रैल को अयोध्या पुलिस द्वारा किया गया एक ट्वीट प्राप्त हुआ। ट्वीट के माध्यम से अयोध्या पुलिस ने इस बात की जानकारी दी है कि 80 वर्षीय वृद्ध साधु विष्णुदास की स्वाभाविक मृत्यु के सम्बन्ध में सोशल मीडिया पर भ्रामक ख़बरें फैलाई जा रहीं हैं। भ्रामक खबर फ़ैलाने वाले पर साधुओं द्वारा केस दर्ज कराया गया है।
खोज के दौरान हमें अयोध्या पुलिस द्वारा शेयर किया गया एक ट्वीट प्राप्त हुआ। ट्वीट में वृद्ध साधु की मृत्यु के सम्बन्ध में भ्रामक खबर वायरल करने वाले पर साधुओं द्वारा पुलिस को दी गयी तहरीर की तस्वीर अपलोड हुई है।
तहरीर के मुताबिक वृद्ध साधु विष्णुदास की मृत्यु का भूख से कोई सम्बन्ध नहीं है।
साधु की मृत्यु स्वाभाविक रूप से हुई है। साथ ही उनका अंतिम संस्कार साधु समाज द्वारा विधि पूर्वक करवा दिया गया है। लेकिन सोशल मीडिया पर इनकी मृत्यु पर गलत खबर चलाई जा रही है।
पड़ताल के दौरान कई टूल्स और कीवर्ड्स का उपयोग करते हुए वायरल दावे का बारीकी से अध्ययन करने पर हमें पता चला कि सोशल मीडिया पर वायरल हो रही खबर झूठी है, साधु की मृत्यु भुखमरी से नहीं हुई बल्कि उनकी मृत्यु स्वाभाविक है।
Tools Used
Google Search
Result- Misleading
(किसी संदिग्ध ख़बर की पड़ताल, संशोधन या अन्य सुझावों के लिए हमें WhatsApp करें: 9999499044 या ई-मेल करें: checkthis@newschecker.in)
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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.