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Fact Check
Claim
दैनिक भास्कर के सर्वे में इंडिया गठबंधन को मिली बढ़त.
Fact
वायरल पेपर क्लिपिंग फ़र्ज़ी है.
सोशल मीडिया पर दैनिक भास्कर की एक क्लिपिंग वायरल हो रही है, जिसमें एक सर्वे दिखाया गया है. इस कथित सर्वे में दावा किया जा रहा है कि I.N.D.I.A गठबंधन 10 राज्यों में आगे है.
हालांकि, हमने अपनी जांच में पाया कि यह सर्वे फेक है. दैनिक भास्कर ने भी इसका खंडन करते हुए इसे फ़र्ज़ी बताया है.
वायरल हो रही क्लिपिंग में मुख्य खबर के तौर पर लिखा हुआ है, “मेगा सर्वे के नतीजे जारी, 10 राज्यों में इंडिया गठबंधन आगे.” इन राज्यों में उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, बिहार, पश्चिम बंगाल, राजस्थान, गुजरात, तमिलनाडु, केरल, कर्नाटक और तेलंगाना का ज़िक्र किया गया है. इसके अलावा, नीचे हेडिंग के तौर पर यह भी लिखा हुआ है, “नीलसन-दैनिक भास्कर के मेगा सर्वे का खुलासा”. साथ ही सब हेडिंग में लिखा हुआ है, “इंडिया गठबंधन एनडीए गठबंधन को चुनौती देने को तैयार, बीजेपी शासित राज्यों में पीएम मोदी का प्रभाव फीका पड़ने का अनुमान”. पोस्ट का आर्काइव यहां देखा जा सकता है।
अखबार की इस क्लिपिंग को कई वेरिफाईड X हैंडल द्वारा भी शेयर किया गया है.
वायरल दावे वाले अन्य पोस्ट्स का आर्काइव यहां, यहां और यहां देखें.
वायरल क्लिपिंग को ध्यानपूर्वक देखने पर हमें तारीख के तौर 13 अप्रैल 2024 और संस्करण के तौर पर भोपाल लिखा हुआ दिखाई दिया. इसलिए हमने उक्त संस्करण और तारीख के ई-पेपर को खंगाला.
ई-पेपर के पेज नंबर 1 को ध्यान से देखने पर हमने पाया कि असल ई-पेपर में किसी भी तरह के सर्वे का ज़िक्र नहीं है, बल्कि जिस जगह पर सर्वे और उससे जुड़ी ख़बर प्रकाशित की गई है, असल ई-पेपर में उस स्थान पर भाजपा का विज्ञापन और भोपाल में हाल ही में हुई बारिश का ज़िक्र है.
इसके अलावा, हमने यह भी पाया कि वायरल क्लिपिंग में सर्वे के अगल-बगल में मौजूद खबर और लेआउट असल ई-पेपर की तरह का ही है. सिर्फ बीच वाली जगह को एडिट कर सर्वे का ज़िक्र किया गया है. आप नीचे मौजूद तस्वीर में इस अंतर को आसानी से देख सकते हैं.
हमारी अभी तक की जांच में यह तो साफ़ हो गया कि वायरल क्लिपिंग एडिटेड है. इसके बाद हमने दैनिक भास्कर की तरफ से इस मामले पर दी गई प्रतिक्रिया को भी खोजा. इस दौरान हमें दैनिक भास्कर के आधिकारिक X अकाउंट से किया गया ट्वीट मिला.
13 अप्रैल 2024 को किए गए इस ट्वीट में दैनिक भास्कर ने लिखा, “यह सर्वे फेक है, जिसे कुछ असामाजिक तत्वों ने तैयार किया है… दैनिक भास्कर ऐसे किसी भी कंटेंट का दावा नहीं करता है… ऐसे लोगों पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए”.
इसके अलावा हमें दैनिक भास्कर के एडिटर एल पी पंत की तरफ से भी किया गया ट्वीट मिला, जिसमें उन्होंने उक्त सर्वे और क्लिपिंग को फ़र्ज़ी बताया था.
हमारी जांच में मिले साक्ष्यों से यह साफ़ है कि दैनिक भास्कर का यह कथित पेपर क्लिपिंग फ़र्ज़ी है. असल क्लिपिंग में सर्वे मौजूद नहीं है.
Our Sources
Dainik Bhaskar E-Paper on 13th April 2024
Tweet by Dainik Bhaskar on 13th April 2024
Tweet by Editor LP Pant on 13th April 2024
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