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एनसीपी नेता शरद पवार की वर्षों पुरानी वीडियो क्लिप गलत दावे के साथ सोशल मीडिया पर की गई शेयर

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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

सोशल मीडिया पर एनसीपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय कृषि मंत्री शरद पवार का एक वीडियो वायरल हो रहा है। वीडियो में एक सिख व्यक्ति द्वारा शरद पवार को थप्पड़ मारते हुए देखा जा सकता है। दावा किया जा रहा रहा है कि सचिन तेंदुलकर को नसीहत देने के बाद किसी ने पवार को थप्पड़ मार दिया।

वायरल पोस्ट का आर्काइव लिंक यहाँ देखें।

 शरद पवार थप्पड़ वीडियो

Fact check / Verification

ट्विटर पर कुछ दिनों से किसान आंदोलन को लेकर काफी घमासान मचा हुआ है। पर्यावरण कार्यकर्ता ‘ग्रेटा थनबर्ग’ अमेरिकी पॉप सिंगर रिहाना और पोर्न स्टार मिया खलीफा जैसी तमाम बड़ी विदेशी हस्तियों ने ट्वीटर के माध्यम से किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट करते हुए यह जाहिर किया है कि भारतीय किसानों की इस लड़ाई में वह उनके साथ हैं।

 शरद पवार थप्पड़ वीडियो

इसी क्रम में बॉलीवुड और भारतीय क्रिकेट टीम की बड़ी हस्तियों ने ‘इंडिया टुगेदर’ और ‘इंडिया अगेंस्ट प्रोपेगेंडा’ के हैसटैग के साथ केंद्र सरकार के समर्थन में ट्वीट किया था। ट्वीट करने वालों में क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर भी शामिल थे।

 शरद पवार थप्पड़ वीडियो

एनसीपी के वरिष्ठ नेता शरद पवार ने सचिन तेंदुकार के इस ट्वीट पर नसीहत देते हुए कहा कि “मैं सचिन (तेंदुलकर) को सलाह दूंगा कि वे किसी अन्य क्षेत्र के बारे में बोलते हुए सावधानी बरतें।”

जिसके बाद सोशल मीडिया पर एक सिख युवक द्वारा एनसीपी नेता शरद पवार को थप्पड़ करने वाला वीडियो इंटरनेट पर वायरल दावे के साथ शेयर होने लगा। वीडियो को देखने पर हमें इसके पुराना होने की आशंका हुई जिसके बाद वीडियो के साथ शेयर हो रहे दावे का सच जानने के लिए हमने पड़ताल शुरू की।

पड़ताल के दौरान हमने सबसे पहले वायरल वीडियो को InVid टूल की सहायता से कुछ कीफ्रेम्स में तोड़ा और फिर गूगल पर रिवर्स इमेज टूल की सहायता से खोजना शुरू किया। जिसके बाद हमें वायरल क्लिप India tv के यूट्यूब चैनल पर प्राप्त हुई। वीडियो को 24 नवंबर 2011 को अपलोड किया गया था।

वीडियो के साथ जानकारी दी गई है कि यह वीडियो साल 2011 का है, जब शरद पवार केंद्र में कृषि मंत्री थे। उस दौरान किसी ‘हरविंदर सिंह’ नामक युवक ने एनसीपी नेता और तत्कालीन कृषि मंत्री को थप्पड़ मार दिया था।

प्राप्त जानकारी की पुष्टि के लिए हमने गूगल पर और बारीकी से खोजा। खोज के दौरान हमें आजतक की वेबसाइट पर साल 2011 में छपा एक लेख मिला। जहां इस बात की जानकारी दी गई थी कि साल 2011 में पवार एनडीएमसी सेंटर में एक कार्यक्रम में हिस्‍सा लेने पहुंचे थे। इसी दौरान हरविंदर सिंह नामक एक शख्‍स ने उनको थप्‍पड़ मार दिया था। लेख के मुताबिक युवक बढ़ती महंगाई और व्‍यवस्‍था से नाराज था। साथ ही भी बताया गया है कि युवक मानसिक रूप से बीमार था।

 शरद पवार थप्पड़ वीडियो

इसके अलावा हमें News18 की वेबसाइट पर भी एक लेख मिला। जिसमें जानकारी दी गयी है कि भगोड़े ‘हरविंदर सिंह’ को आठ साल बाद दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।

 शरद पवार थप्पड़ वीडियो

Conclusion

वायरल वीडियो की पड़ताल के दौरान उपरोक्त मिले तथ्यों से हमें पता चला कि एनसीपी के वरिष्ठ नेता शरद पवार को एक सिख युवक द्वारा थप्पड़ मारने वाला यह वायरल वीडियो मौजूदा दिनों का नहीं बल्कि साल 2011 का है। हरविंदर सिंह नामक व्यक्ति ने बढ़ती महंगाई से तंग आकर गुस्से में तत्कालीन कृषि मंत्री शरद पवार को थप्पड़ जड़ दिया था।

Result- Misleading

Our Sources

https://hindi.news18.com/news/delhi-ncr/sharad-pawar-delhi-police-arrests-accused-who-slapped-upa-one-union-minister-in-2011-nodrss-2601757.html

https://www.aajtak.in/india/story/Youth-slaps-Sharad-Pawar-111763-2011-11-24

https://www.youtube.com/watch?v=C6nbXU39t2E

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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

Nupendra Singh
A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

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