Authors
A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.
प्रदर्शन कर रही एक युवती की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। इस तस्वीर में एक युवती को एक बैनर पकड़कर प्रदर्शन करते हुए देखा जा सकता है। बैनर में No more Hathras, no more vote to BJP लिखा हुआ देखा जा सकता है। वायरल तस्वीर के साथ दावा किया जा रहा है कि भाजपा सरकार में कथित तौर पर दिन-प्रतिदिन महिलाओं के साथ बढ़ रही हैवानियत से अब जनता नाराज है। इसलिए अब जनता ने भाजपा पार्टी का बहिष्कार करना शुरू कर दिया है।
सोशल मीडिया पर वायरल इस तस्वीर को कई अन्य यूज़र्स द्वारा भी शेयर किया गया है
Fact Check / Verification
हाल ही में एक बार फिर उत्तर प्रदेश के हाथरस से एक युवती के साथ छेड़खानी का मामला सामने आया। लेकिन इस बार का मामला पिछली बार से कुछ अलग है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक दो साल पहले कुछ शोहदों ने एक युवती से छेड़खानी की थी। जिसके बाद युवती के पिता ने मामले पर FIR भी दर्ज करवाई थी। लेकिन 01 मार्च साल 2021 को पीड़ित और आरोपी परिवार के लोगों में कहासुनी हो गयी। इसी दौरान आरोपी ने युवती के पिता की गोली मारकर हत्या कर दी।
इसी घटना को लेकर सोशल मीडिया पर सैकड़ों यूज़र्स ने यूपी पुलिस तथा योगी सरकार की काफी निंदा की। इसी के बाद से सोशल मीडिया पर प्रदर्शन करती इस महिला की तस्वीर भी खूब वायरल हुई। वायरल तस्वीर को देखने पर हमें इसके एडिटेड होने की आशंका हुई। जिसके बाद वायरल तस्वीर की सत्यता जानने के लिए हमने पड़ताल शुरू की।
पड़ताल के दौरान हमने सबसे पहले वायरल तस्वीर को गूगल पर रिवर्स इमेज टूल के माध्यम से खोजना शुरू किया। इस दौरान हमें alamy.com नाम की वेबसाइट पर वायरल प्राप्त हुई। प्राप्त तस्वीर को वेबसाइट पर 11 अप्रैल साल 2018 को प्रकाशित किया गया है।
वायरल तस्वीर के उल्लेख में दी गयी जानकारी के मुताबिक, यह तस्वीर पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता की है। तस्वीर साल 2018 में ली गयी थी जब एक पत्रकार पर हुए हमले को लेकर पंचायत चुनाव के नामांकन के दौरान कुछ पत्रकारों द्वारा प्रदर्शन किया गया था।
इसके बाद हमने दोनों तस्वीरों की तुलना की। जिसके बाद हमने पाया कि युवती ने अपने हाथों में जो बैनर पकड़ा हुआ है उसमें लिखा हुआ टेक्स्ट दोनों ही तस्वीरों में बिल्कुल अलग है।
प्राप्त तथ्यों की पुष्टि के लिए वायरल तस्वीर के बारे में अधिक जानकारी के लिए खोजना जारी रखा। जिसके बाद हमें National Herald की वेबसाइट पर भी युवती की वायरल तस्वीर मिली। जिसे 12 अप्रैल साल 2018 में ही अपलोड किया गया था।
प्राप्त रिपोर्ट के मुताबिक, युवती की यह तस्वीर साल 2018 में उस दौरान क्लिक की गई थी जब कोलकाता में पंचायत चुनाव के नामांकन चल रहे थे। यहाँ भी बताया गया है कि यह प्रदर्शन एक पत्रकार पर हुए हमले को लेकर किया गया था।
Conclusion
पड़ताल के दौरान उपरोक्त मिले तथ्यों से हमें पता चला कि वायरल तस्वीर गलत दावे के साथ शेयर की जा रही है। युवती की इस तस्वीर का हाथरस की घटना से कोई संबंध नहीं है।
Result- Misleading
Our Sources
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A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.