Friday, March 14, 2025
हिन्दी

Coronavirus

प्रियंका या राहुल गांधी ने नहीं तोड़ा लॉकडाउन, सोशल मीडिया में पुरानी वीडियो क्लिप गलत दावे के साथ वायरल

banner_image

प्रियंका गांधी ने तोड़ा लॉकडाउन। जब दुनिया इस तरह के प्रतिबन्धों का पालन कर रही है तब देखिये कौन इसका उल्लंघन कर रहा है। 

  कोरोना संकट के मद्देनज़र देश में 3 सप्ताह के लॉकडाउन की घोषणा के बाद कई लोगों द्वारा इसके उल्लंघन की कई ख़बरें सोशल मीडिया में वायरल हो रही हैं। इसी बीच कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी की एक वीडियो के साथ दावा किया जा रहा है कि उन्होंने इसका अनुपालन नहीं किया। यह सन्देश हमारे आधिकारिक WhatsApp ग्रुप पर भी सत्यता प्रमाणित करने के लिए भेजा गया है। सन्देश में उस पुलिस अधिकारी की भी तारीफ़ की गई है जिसने उन्हें रोकने का प्रयास किया है।     

फैक्ट चेक:

कोरोना संक्रमण के खतरे को देखते हुए पूरे देश में लॉक डाउन के साथ कई इलाकों में सुपर लॉकडाउन देखने को मिल रहा है। इस दौरान कुछ लोगों द्वारा इसके उल्लंघन की ख़बरें भी सुर्ख़ियों में हैं। DHFL के प्रमोटर का पूरा परिवार महाराष्ट्र में लॉक डाउन तोड़ने का आरोपी है तो वहीं कांग्रेस नेत्री प्रियंका गांधी की एक वीडियो तेजी से शेयर हो रही है। क्लिप के साथ कैप्शन में कहा गया है कि प्रियंका ने लॉक डाउन तोड़ा है। वीडियो में देखा जा सकता है कि कुछ लोगों के साथ कार में बैठी प्रियंका गांधी को कुछ पुलिस वाले रोकते नज़र आ रहे हैं। एक पुलिस अधिकारी कहता नजर आ रहा है कि धारा 144 के मद्देनजर समूह के साथ यात्रा ठीक नहीं है। वीडियो में कांग्रेस नेता प्रमोद तिवारी भी पुलिस वालों से गाड़ी को पास कराने की बात कहते नज़र आ रहे हैं। 

  

https://twitter.com/HindustaniRia_/status/1246678609298890752

वीडियो की हकीकत जानने के लिए कुछ कीवर्ड की मदद से यह जानने का प्रयास किया कि इन दिनों प्रियंका गांधी से सम्बंधित मीडिया में क्या ख़बरें चल रही हैं। इस दौरान कई लिंक खुलकर सामने आये।   

 अमर उजाला के मुताबिक़ प्रियंका गांधी ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर मौजूदा संकट से निपटने के सुझाव दिए हैं। इस खबर को समाचार एजेंसी ANI ने ट्वीट किया है।

मौजूदा ख़बरों में वायरल दावे की पुष्टि ना होने पर वीडियो को inVID टूल से कई कीफ्रेमों में तोड़ा। इससे प्राप्त कुछ स्क्रीनशॉट्स को गूगल रीवर्स इमेज की सहायता से खोजना शुरू किया। इस दौरान इंडिया टुडे का एक वीडियो मिला। इस वीडियो में मेरठ के पुलिस अधिकारी ने पूरे मामले को विस्तार से बताया है। यह वीडियो क्लिप साल 2019 की है जब राहुल गाँधी अपनी बहन प्रियंका के साथ मेरठ जा रहे थे उस दौरान परतापुर पुलिस ने उनकी गाड़ी को रोक लिया था।   

खोज के दौरान ही CNN का भी एक वीडियो मिला जो 24 दिसंबर साल 2019 को अपलोड किया गया है। इसमें बताया गया है कि CAA पीड़ितों से मिलने जा रहे कांग्रेस नेताओं की गाड़ी को पुलिस द्वारा रोका गया था। पड़ताल के दौरान ही आजतक का एक लेख मिला जिसमें बताया गया है कि मेरठ में CAA प्रोटेस्ट के दौरान मृतक परिजनों से मिलने जा रहे कांग्रेस नेताओं के काफिले को पुलिस ने रोक लिया था।   

CAA हिंसा पीड़‍ितों से मिलने जा रहे प्र‍ियंका-राहुल को मेरठ में रोका गया

नागरिकता कानून(CAA) के विरोध में हुए प्रदर्शन के दौरान पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मेरठ में कुछ प्रदर्शनकारियों की मौत भी हो गई थी. कांग्रेस नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा मंगलवार को हिंसा में मारे गए प्रदर्शनकारियों के परिजनों से मुलाकात करने मेरठ जा रहे थे, लेकिन यूपी पुलिस ने उन्हें बॉर्डर पर ही रोक लिया. अमर उजाला ने दिसंबर 2019 में इसी मुद्दे पर प्रकाशित खबर की हेडलाइन में लिखा है कि ‘राहुल-प्रियंका के काफिले की गाड़ी पुलिस पर चढ़ते- चढ़ते बची।’ वायरल वीडियो में किसी को यह कहते हुए भी सुना गया कि पुलिस पर गाड़ी चढ़ाने की कोशिश की गई थी। 

मेरठ : राहुल-प्रियंका के काफिले की गाड़ी पुलिस पर चढ़ते-चढ़ते बची

कांग्रेस महासचिव और प्रियंका गांधी आज दोपहर मेरठ हिंसा में मारे गए लोगों के परिवार से मुलाकात करने के लिए जा रहे थे कि उन्हें शहर से बाहर परतापुर थानाक्षेत्र की मोहिउद्दीनपुर पुलिस चौकी पर ही रोक लिया गया। इस दौरान राहुल और प्रियंका के काफिले की गाड़ी पुलिस पर चढ़ते-चढ़ते बची। इस दौरान सीओ और एक इंस्पेक्टर बाल-बाल बचे। हालांकि पुलिस ने दोनों नेताओं को शहर में प्रवेश नहीं करने दिया गया जिसके बाद वे वापस दिल्ली लौट गए।  वायरल दावे की खोज के दौरान यह साफ़ हो गया कि राहुल या प्रियंका गांधी ने किसी भी तरह से लॉकडाउन नहीं तोड़ा है। वायरल वीडियो साल 2019 का है और इसका कोरोना संक्रमण के हालिया दिनों से कोई लेना-देना नहीं है।   

Tools Used

 Google Reverse Image

 YouTube Search 

Twitter Advanced Search 

Result- Misleading

(किसी संदिग्ध ख़बर की पड़तालसंशोधन या अन्य सुझावों के लिए हमें WhatsApp करें: 9999499044 या ई-मेल करें:checkthis@newschecker.in

image
यदि आप किसी दावे का सच जानना चाहते हैं, किसी तरह की प्रतिक्रिया देना चाहते हैं या हमारे किसी फैक्ट चेक को लेकर शिकायत दर्ज करना चाहते हैं, तो हमें +91-9999499044 पर व्हाट्सएप या checkthis@newschecker.in​. पर ईमेल करें. आप हमारे Contact Us पेज पर जाकर वहाँ मौजूद फॉर्म भी भर सकते हैं.
Newchecker footer logo
Newchecker footer logo
Newchecker footer logo
Newchecker footer logo
About Us

Newchecker.in is an independent fact-checking initiative of NC Media Networks Pvt. Ltd. We welcome our readers to send us claims to fact check. If you believe a story or statement deserves a fact check, or an error has been made with a published fact check

Contact Us: checkthis@newschecker.in

17,450

Fact checks done

FOLLOW US
imageimageimageimageimageimageimage
cookie

हमारी वेबसाइट कुकीज़ का उपयोग करती है

हम कुकीज़ और समान प्रौद्योगिकियों का उपयोग करते हैं ताकि सामग्री को व्यक्तिगत बनाने में मदद मिल सके, विज्ञापनों को अनुकूलित और मापने में मदद मिल सके, और बेहतर अनुभव प्रदान कर सके। 'ठीक है' क्लिक करके या कुकी पसंद करने में एक विकल्प को चालू करके, आप इस से सहमत होते हैं, हमारे कुकी नीति में विस्तार से व्याख्या की गई रूप में।