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Fact Check: बेंगलुरु में 14 टन कुत्ते का मांस मिलने का दावा फर्जी, वायरल वीडियो का जानें सच

Authors

Since 2011, JP has been a media professional working as a reporter, editor, researcher and mass presenter. His mission to save society from the ill effects of disinformation led him to become a fact-checker. He has an MA in Political Science and Mass Communication.

Claim
बेंगलुरु रेलवे स्टेशन पर मंगवाया गया कुत्ते का मांस.

Fact
नहीं, जांच में पाया गया कि ये मांस भेड़ के थे.

सोशल मीडिया पर एक रेलवे स्टेशन पर रखे कुछ शिपमेंट वाले वीडियो के जरिए यह दावा किया जा रहा है कि राजस्थान से बेंगलुरु लाया गया 14 हजार किलो कुत्ते का मांस बेंगलुरु रेलवे स्टेशन पर जब्त किया गया.

वायरल वीडियो करीब एक मिनट का है, जिसमें एक रेलवे स्टेशन पर उजले रंग के कुछ पैकेज मौजूद हैं. वीडियो में एक व्यक्ति यह कहता हुआ नजर आ रहा है कि कर्नाटक में अब्दुल रज्जाक नाम का शख्स यहां के होटलों में कुत्ते के मीट की सप्लाई करवा रहा है.

इस वीडियो को वायरल दावे वाले कैप्शन के साथ शेयर किया गया है, जिसमें लिखा हुआ है “कर्नाटक में 14 टन कुत्ते का मांस पकड़ा गया. राजस्थान से बेंगलुरु लाया गया 14 हजार किलो कुत्ते का मांस बेंगलुरु रेलवे स्टेशन मैजेस्टिक के पास जब्त किया गया. बेंगलुरु का मीट कारोबार पूरी तरह मुस्लिम नेता अब्दुल रजाक के हाथ में है”. 


Courtesy: X/ajaychauhan41

Fact Check/Verification

Newschecker ने वायरल दावे की पड़ताल के लिए सबसे पहले संबंधित कीवर्ड की मदद से गूगल सर्च किया, तो आजतक की वेबसाइट पर 27 जुलाई 2024 को प्रकाशित रिपोर्ट मिली.  

Courtesy: AAJ TAK

न्यूज रिपोर्ट के अनुसार, 26 जुलाई को बेंगलुरु सिटी रेलवे स्टेशन पर तीन टन मांस की एक खेप जयपुर से पहुंची थी, जिसके बाद बेंगलुरू के एक गौ रक्षक पुनीथ केरेहल्ली ने यह दावा किया कि मंगवाया गया मांस कुत्ते का है. इसके बाद भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (एफएसआई) के अधिकारी स्टेशन पर वहां पहुंचे और मांस के सैम्पल को लेकर लैब भेज दिया. 

हालांकि, इस दौरान मांस विक्रेता अब्दुल रज्जाक ने कुत्ते के मीट वाले दावे को खारिज करते हुए कहा था कि यह भेड़ का मांस है ना कि कुत्ते का मांस. हमारे पास इसके कानूनी दस्तावेज भी हैं और पुनीथ केरेहल्ली झूठे आरोप लगाकर पैसे कमाना चाहते हैं.

इसी दौरान हमें 28 जुलाई 2024 को टाइम्स ऑफ़ इंडिया की वेबसाइट पर भी प्रकाशित रिपोर्ट मिली. इस रिपोर्ट में भी बताया गया था कि करीब 2700 किलोग्राम मीट जयपुर से बेंगलुरु सिटी रेलवे स्टेशन पर पहुंचा था, जिसके बाद गौ रक्षक पुनीथ केरेहल्ली ने इसके कुत्ते का मांस होने का दावा करते हुए प्रदर्शन किया था. पुलिस ने इस मामले में तीन एफआईआर दर्ज की थी. पहली एफआईआर मांस विक्रेता के खिलाफ कुत्ते के मीट होने की आशंका को लेकर की गई थी. वहीं दूसरी एफआईआर पुनीथ केरेहल्ली के खिलाफ एफएसआई के अधिकारियों के कार्य में बाधा पहुंचाने को लेकर की गई थी. इसके अलावा तीसरी एफआईआर पुनीत और उसके साथियों के खिलाफ भीड़ जमा करने को लेकर की गई थी.

Courtesy: TOI

हालांकि इस रिपोर्ट में खाद्य सुरक्षा आयुक्त के श्रीनिवास का बयान भी मौजूद था, जिसमें उन्होंने कहा था कि “बेंगलुरु में कुत्ते का मांस नहीं बेचा जा रहा है और ट्रेन से जो मीट मंगवाया गया वह ‘शेवॉन’ यानी बकरे का मीट था. यह एक विशेष नस्ल के बकरे की प्रजाति ‘सिरोही’ का मीट था, जो बड़े पैमाने पर राजस्थान और गुजरात के कच्छ-भुज क्षेत्रों में पाया जाता है. उनकी पूंछ थोड़ी लम्बी होती है और उन पर धब्बे होते हैं, इसलिए कुछ लोग कुत्ते समझ कर भ्रमित हो सकते हैं. हालांकि जांच के लिए लाए गए नमूनों में कुत्ते के मांस के कोई निशान नहीं मिले. बकरे की प्रजाति के मीट की कम आपूर्ति के कारण कुछ व्यापारी इसे अलग-अलग राज्यों से मंगवाते हैं और यहां सस्ती कीमत पर बेचते हैं. 

इसके अलावा, इस संबंध में हमें द न्यूज मिनट की वेबसाइट पर भी प्रकाशित रिपोर्ट मिली. इस रिपोर्ट में बताया गया था कि कर्नाटक स्वास्थ्य विभाग ने मीट के इन पार्सल को जांच के लिए ICAR-National Meat Research Institue हैदराबाद भेजा था, जिसके बाद 30 जुलाई को इसकी रिपोर्ट सामने आई और यह जांच मॉलिक्यूलर बायोमार्कर एनालिसिस माध्यम से की गई थी, जिसमें पाया गया कि यह मीट भेड़ के हैं. इसके अलावा इस रिपोर्ट में उक्त व्यक्ति की तस्वीर भी मौजूद है, जो वायरल वीडियो में कुत्ते का मीट होने का आरोप लगाता नजर आ रहा है. इस न्यूज रिपोर्ट में उक्त शख्स का नाम पुनीथ केरेहल्ली बताया गया है.

Courtesy: TNM

इसके अलावा हमें इस संबंध में 31 जुलाई 2024 को कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री दिनेश गुंडू राव की तरफ से किया गया ट्वीट भी मिला, जिसमें उन्होंने  ICAR-National Meat Research Institue हैदराबाद की रिपोर्ट साझा करते हुए लिखा था कि “बेंगलुरु के रेलवे स्टेशन पर लाया गाया मांस ‘भेड़ का था. इसके अलावा उन्होंने लोगों से अफवाह से बचने की अपील भी की थी.


Courtesy: X/dineshgrao

30 जुलाई को ICAR-National Meat Research Institue हैदराबाद की तरफ से जारी किए गए रिपोर्ट में दर्शाया गया है कि मॉलिक्यूलर बायोमार्कर एनालिसिस (DNA) तरीके से किए गए जांच में यह स्पष्ट है कि ये मांस भेड़ के हैं. आप नीचे इस रिपोर्ट को देख सकते हैं.

Conclusion

हमारी जांच में मिले साक्ष्यों से यह स्पष्ट है कि वायरल दावा गलत है और बेंगलुरू सिटी रेलवे स्टेशन पर लाया गया मांस भेड़ का था.

Result: False

Our Sources
Tweet by Karnataka Health Minister on 31st July 2024
Article by AAJ TAK on 27th July 2024
Article by Times of India on 28th July 2024
Article by The News Minute on 31st July 2024

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Since 2011, JP has been a media professional working as a reporter, editor, researcher and mass presenter. His mission to save society from the ill effects of disinformation led him to become a fact-checker. He has an MA in Political Science and Mass Communication.

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