Authors
An Electronics & Communication engineer by training, Arjun switched to journalism to follow his passion. After completing a diploma in Broadcast Journalism at the India Today Media Institute, he has been debunking mis/disinformation for over three years. His areas of interest are politics and social media. Before joining Newschecker, he was working with the India Today Fact Check team.
सोशल मीडिया पर एक विचलित कर देने वाला वीडियो वायरल है, जिसमें उग्र भीड़ एक व्यक्ति को घेरकर लाठी-डंडों और पत्थरों से बुरी तरह पीट रही है. दावा किया गया है कि यूपी के कौशांबी में हिंदू संगठनों की भीड़ ने दो मुस्लिम युवकों की लिंचिंग कर दी, जिनमें से एक की मौत हो गई और दूसरे की हालत नाजुक है. दावे में मृतक का नाम जफर बताया गया है.
वायरल वीडियो के कैप्शन में लिखा गया है, “संवैधानिक अधिकार का प्रयोग करते हुए हुनूद ने दो #मुस्लिम युवकों की बेरहमी से की #lynching, एक (जाफर) की मौके पर ही मौत…घटना कौशाम्बी की भीड़ ने जफर को जान से मार दिया दूसरे की हालत नाजुक बताई जा रही है।#MuslimLivesMatter”. यह पोस्ट फेसबुक और ट्विटर पर कई लोग शेयर कर चुके हैं. वायरल ट्वीट्स के आर्काइव यहां और यहां देखे जा सकते हैं.
Fact Check/Verification
वीडियो के एक फ्रेम को यांडेक्स पर रिवर्स सर्च करने पर हमें डेली मेल की एक खबर मिली, जिसमें वायरल वीडियो को दिखाया गया है. 6 फरवरी, 2020 को प्रकाशित हुई इस खबर में बताया गया है कि यह वीडियो मध्य प्रदेश के धार जिले का है, जहां एक गांव में भीड़ ने एक किसान और उसके कुछ साथियों को बच्चा चोर समझकर बुरी तरह पीटा था. हमले में किसान की मौत हो गई थी और बाकी लोग गंभीर रूप से घायल हो गए थे. मृतक का नाम गणेश खासी था.
बतौर रिपोर्ट, पीड़ित पैसो के लेन-देन को लेकर गांव आए थे. लेकिन इस दौरान कुछ विवाद हो गया और ये अफवाह फैल गई कि गणेश खासी और उसके साथी बच्चा चोरी करके भाग रहे हैं. इसके बाद गांव वालों ने गणेश सहित बाकियों को लाठी-डंडों से बुरी तरह पीट दिया. उनकी गाड़ियों के साथ भी तोड़-फोड़ की गई. मिरर नाउ की खबर के मुताबिक, पीड़ितों पर करीब 200 लोगों ने हमला किया था.
मामले की जांच के लिए सरकार को स्पेशल इंवेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) का गठन करना पड़ा था. पुलिस का कहना था कि भुवान सिंह नाम के एक व्यक्ति ने ये साजिश रची थी और बच्चा चोर होने की अफवाह भी फैलाई थी.
यहां इतना तो साफ हो जाता है कि इस वीडियो का यूपी के कौशांबी से कोई नाता नहीं है. यह दो साल से ज्यादा पुरानी घटना का वीडियो है. यूपी पुलिस ने भी इसका खंडन किया है.
क्या यूपी के कौशांबी में सचमुच एसी कोई घटना हुई है?
कुछ कीवर्ड्स की मदद से गूगल पर खोजने के दौरान कई खबरें मिलीं. खबरों के अनुसार, सोमवार यानी बीते 21 मार्च को यूपी के कौशांबी जिले के एक गांव में भीड़ ने कथित तौर पर जफर आलम नाम के एक व्यक्ति की पीट-पीटकर हत्या कर दी थी. मृतक के भाई को भी भीड़ ने बुरी तरह पीटा था जिसका अस्पताल में इलाज चल रहा है. मामला प्रेम प्रसंग का बताया गया है. बतौर मीडिया रिपोर्ट्स, जफर, कोरी समुदाय की एक लड़की से मिलने अक्सर पास के एक गांव में जाया करता था. लड़की के घरवालों को यह पसंद नहीं था. सोमवार को लड़की के घर वालों ने जफर को गांव में देख लिया.
दोनों के बीच विवाद हो गया और जफर ने अपने भाई नूर को बुला लिया. इस दौरान जफर ने अपनी पिस्तौल से ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी. बवाल बढ़ गया और भीड़ ने जफर और उसके भाई को बुरी तरह पीट दिया, जिसमें जफर की जान चली गई. पुलिस ने ग्राम प्रधान के पति मानिकचंद्र सोनकर सहित दो दर्जन से अधिक अज्ञात ग्रामीणों के खिलाफ बलवा और हत्या का मुकदमा दर्ज किया है. मानिकचंद्र ने मृतक जफर आलम और उसके भाई के खिलाफ भी हत्या के प्रयास का मुकदमा दर्ज करवाया है.
Conclusion
इस तरह हमारी पड़ताल में स्पष्ट होता है कि यूपी के कौशांबी में मुस्लिम युवकों के साथ मारपीट से जुड़ा एक मामला सचमुच सामने आया है. लेकिन जिस वीडियो को इस घटना का बताकर शेयर किया जा रहा है असल में वह मध्य प्रदेश का पुराना वीडियो है.
Result: Misleading/Partly False
Our Sources
Reports of Daily Mail, Mirror Now, The Times of India and Amar Ujala
Tweet of UP police
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