Fact Check
नीतीश कुमार के लिए अपशब्दों का इस्तेमाल कर रहे लोगों का पुराना वीडियो, अभी का बताकर हो रहा है शेयर
(वायरल वीडियो में अपशब्दों का इस्तेमाल किया गया है, इस वजह से हम वीडियो को लेख में दिखा नहीं सकते. हमने लेख में वीडियो के लिंक्स को हायपरलिंक किया है.)
बिहार (Bihar) में चल रही राजनीतिक उठापटक के बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो काफी वायरल हो रहा है, जिसमें कुछ लोग राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के लिए आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल कर रहे हैं.
दावा किया जा रहा है कि नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के साथ मिलकर बिहार के जनादेश को धोखा दिया, इस कारण आम जनता ने अपशब्दों का प्रयोग कर उनका विरोध किया.


कुछ फेसबुक यूजर्स ने वीडियो के साथ यह भी लिखा है कि अपशब्दों का इस्तेमाल कर रहे ये लोग आरजेडी कार्यकर्ता हैं जो नीतीश कुमार का स्वागत कर रहे हैं.

दरअसल, 2020 में बिहार विधानसभा चुनाव बीजेपी और नीतीश कुमार की जेडीयू ने साथ में लड़ा था, जिसमें इस गठबंधन को जीत मिली थी. लेकिन पिछले कुछ दिनों से दोनों दलों के रिश्तों में कड़वाहट की खबरें आ रही थीं. 9 अगस्त 2022 को नीतीश कुमार के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के साथ ही यह बात साफ हो गई कि अब गठबंधन टूट चुका है. अब नीतीश कुमार, लालू प्रसाद यादव की आरजेडी के साथ मिलकर सरकार बनाने जा रहे हैं. गौरतलब है कि आज दोपहर 2 बजे नीतीश ने सीएम पद और आरजेडी के तेजस्वी यादव ने उप मुख्यमंत्री पद की शपथ भी ले ली है.
Fact Check/Verification
वायरल वीडियो को कुछ कीवर्ड्स की मदद से खोजने पर हमें इसका लंबा वर्जन यूट्यूब पर मिला. यूट्यूब पर एक यूजर ने इस वीडियो को 3 मई 2020 को अपलोड किया था. सच्चाई यहीं सामने आ जाती है कि वायरल वीडियो पुराना है, न कि अभी का.

इस वीडियो के लंबे वर्जन में नाराजगी जाहिर करते हुए लोग बोल रहे हैं कि वे तमिलनाडु में कई दिनों से भूखे प्यासे फंसे हुए हैं, लेकिन नीतीश कुमार उन लोगों की बिहार वापसी की व्यवस्था नहीं कर रहे हैं. लोगों का कहना था कि वे चुनाव में नीतीश कुमार को अब कभी वोट नहीं देंगे.
यह वीडियो मई 2020 में अपलोड किया गया था. उस समय देश में कोरोना लॉकडाउन लगा हुआ था और प्रवासी मजदूर दूसरे राज्यों में फंस गए थे. उनकी दुर्दशा की खबरें लगातार आ रही थीं. वायरल वीडियो में दिख रहे लोग मास्क भी लगाए हुए हैं. इससे यही समझ आता है कि वीडियो में दिख रहे लोग बिहार के रहने वाले हैं जो तमिलनाडु में लॉकडाउन की वजह से फंस गए थे.
The Activist नाम के एक वेरीफाइड यूट्यूब चैनल ने भी वायरल वीडियो को लेकर एक वीडियो बनाया था. इस यूट्यूब वीडियो में भी वायरल वीडियो में दिख रहे लोगों को लॉकडाउन में फंसे मजदूरों का बताया गया है.

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Conclusion
इस तरह हमारी पड़ताल से निष्कर्ष निकलता है कि नीतीश कुमार के लिए आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल कर रहे लोगों का यह वीडियो दो साल से ज्यादा पुराना है. इसका बिहार में हाल ही में हुई राजनीतिक हलचल से कोई संबंध नहीं है.
Result: Partly False
Our Sources
YouTube video uploaded on May 3, 2020
YouTube video, uploaded by The Activist on May 1, 2020
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