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हरियाणा में किसानों पर हुए लाठीचार्ज के बाद एक बार फिर से किसान आंदोलन सुर्खियों में है। बताते चलें कि सितंबर महीने में होने वाले पंचायत और निकाय चुनावों की तैयारियों का मंथन करने के लिए, भाजपा द्वारा करनाल में बुलाई गई पार्टी मीटिंग का विरोध करने हजारों किसान करनाल पहुंचे थे। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, किसानों ने बीजेपी के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। हरियाणा पुलिस का कहना है कि किसानों के इस प्रदर्शन के जवाब में पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए लाठीचार्ज किया, जिसमें 10 पुलिसकर्मियों समेत 14 लोगों के घायल होने की खबर भी आई है, तो वहीं दूसरी तरफ अखिल भारतीय किसान मजदूर सभा का दावा है कि इस घटना में एक किसान की मौत हो गई है।
मामले ने और भी ज्यादा तूल तब पकड़ा, जब एसडीएम आयुष सिन्हा का एक वीडियो यह कहते हुए वायरल हुआ कि “किसानों का सिर फोड़ दिया जाए”। इसी बीच पुलिसकर्मियों की एक तस्वीर तेजी से सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है। तस्वीर में दो पुलिसकर्मी सड़क पर पड़े खून को साफ करते हुए नजर आ रहे हैं। दावा है कि किसानों को पीटकर उनका खून बहाने के बाद, पुलिस वाले अब उसे साफ कर रहे हैं। साथ ही खट्टर सरकार पर कटाक्ष करते हुए यह भी कहा जा रहा है, ‘सत्ता में आने से पहले आपने काफी वादे किए थे और अब आप ये कर रहे हैं।’
पोस्ट से जुड़े आर्काइव लिंक को यहां पर देखा जा सकता है।
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Fact Check/Verification
वायरल तस्वीर को गूगल रिवर्स इमेज के जरिए सर्च करने पर 23 सितंबर, 2013 को Indian Express द्वारा प्रकाशित एक रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के मुताबिक, वायरल तस्वीर साल 2013 में श्रीनगर के इकबाल पार्क में CISF जवान पर हुए हमले की है।
प्राप्त जानकारी के आधार पर कुछ कीवर्ड्स के जरिए गूगल सर्च करने पर हमें वायरल तस्वीर से जुड़ी Times Now के यूट्यूब चैनल पर 23 सितंबर, 2013 को प्रकाशित एक वीडियो रिपोर्ट मिली। रिपोर्ट के अनुसार, श्रीनगर के इकबाल पार्क में दो CISF जवानों पर मार्केट में खरीदारी के दौरान कुछ उग्रवादियों ने हमला कर दिया था। हमले में दोनों CISF जवान घायल हो गए थे और उन्हें अस्पताल पहुंचाया गया था। Outlook India की खबर के मुताबिक, गोली लगने के कारण एक जवान की अस्पताल में मौत हो गई थी, जबकि दूसरे जवान को गंभीर चोटें आई थी। पुलिस के अनुसार, उग्रवादियों ने साइलेंसर से लैस पिस्तौल का इस्तेमाल कर निहत्थे जवानों पर एक पॉइंट ब्लैंक रेंज से फायरिंग की थी।
इमेज स्टॉक रखने वाली वेबसाइट Alamy पर भी यही वायरल तस्वीर मौजूद है। यहां पर भी वायरल तस्वीर को साल 2013 में श्रीनगर के इकबाल पार्क में CISF जवानों पर हुए हमले का बताया गया है।
Conclusion
हमारी पड़ताल में मिले तथ्यों के मुताबिक, सड़क पर खून साफ करते पुलिसकर्मियों की वायरल तस्वीर का किसान आंदोलन से कोई संबंध नहीं है। वायरल तस्वीर, श्रीनगर में साल 2013 में CISF जवानों पर हुए हमले की है।
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Result: False
Claim Review: सड़क पर खून साफ करते पुलिसकर्मियों की ये वायरल तस्वीर किसान आंदोलन की है। Claimed By: Viral social media post Fact Check: False |
Our Sources
Out Look –https://www.outlookindia.com/newswire/story/cisf-jawan-killed-in-militant-attack-in-srinagar/811154
Youtube –https://www.youtube.com/watch?v=OCAYlMQ0cIQ
Indian Express –http://archive.indianexpress.com/picture-gallery/cisf-jawan-killed-in-militant-attack-in-srinagar/3454-3.html
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