Newchecker.in is an independent fact-checking initiative of NC Media Networks Pvt. Ltd. We welcome our readers to send us claims to fact check. If you believe a story or statement deserves a fact check, or an error has been made with a published fact check
Contact Us: checkthis@newschecker.in
Fact Check
अमित शाह ने कहा है कि सभी पार्टियों के सोशल मीडिया कार्यकर्ता उनके 5 किलो राशन पर पल रहे हैं.
नहीं, वायरल ग्राफिक्स एडिटेड है.
सोशल मीडिया पर अमित शाह का एक कथित बयान वायरल है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि उन्होंने कहा कि सभी दलों के सोशल मीडिया कार्यकर्ता उनके 5 किलो राशन पर पल रहे हैं.
हालांकि, हमने अपनी जांच में पाया कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पटना में आयोजित NDTV PowerPlay के कार्यक्रम में ऐसा कोई बयान नहीं दिया था. एनडीटीवी ने भी इसका खंडन किया है.
सोशल मीडिया पर अमित शाह के कथित बयान को एक ग्राफिक्स के जरिए शेयर किया गया है. जिसमें सबसे ऊपर एनडीटीवी इंडियन पावर प्ले का लोगो मौजूद है. नीचे बिहार विधानसभा चुनाव 2025 लिखा हुआ है. इसके बाद वह बयान मौजूद है, जिसमें लिखा हुआ है, “सोशल मीडिया पर जो भी कार्यकर्ता हैं किसी भी पार्टी के हो वो हमारे 5 किलों राशन से ही पल रहे हैं”. सबसे नीचे अमित शाह की एक तस्वीर भी मौजूद है, जिसमें उन्होंने अपने हाथ में एनडीटीवी का माइक पकड़ा हुआ है.
यह ग्राफिक्स असल मानकर कई X अकाउंट से शेयर किया गया है, जिसे यह आप यहां, यहां और यहां देख सकते हैं.

इसके अलावा यह ग्राफिक्स फेसबुक पर भी वायरल है.

अमित शाह के नाम पर वायरल हुए इस दावे की पड़ताल के लिए हमने कीफ्रेम की मदद से रिवर्स इमेज सर्च किया. इस दौरान हमें एनडीटीवी इंडिया के X अकाउंट से 1 नवंबर 2025 को पोस्ट किया गया थ्रेड मिला. इस थ्रेड में कई ग्राफिक्स मौजूद थे, जिनमें गृह मंत्री अमित शाह द्वारा NDTV PowerPlay कार्यक्रम में दिए गए मुख्य बयानों का जिक्र था.

इन ग्राफिक्स में बिहार चुनाव, राजद, नीतीश कुमार, प्रशांत किशोर और घुसपैठ समेत अन्य मुद्दों पर अमित शाह द्वारा दिए गए बयानों का जिक्र था. हालांकि, इनमें से किसी भी ग्राफिक्स में 5 किलो राशन या उस बयान का ज़िक्र नहीं था, जो वायरल ग्राफिक्स में मौजूद है. आप नीचे मौजूद कुछ ग्राफिक्स को देख सकते हैं.

इसके बाद वायरल ग्राफिक्स का मिलान असल ग्राफिक्स से किया तो हमें कई अंतर देखने को मिले. जैसे दोनों के फॉण्ट काफी अलग थे. इसके अलावा वायरल ग्राफिक्स में मौजूद टेक्स्ट का बैकग्राउंड एक उजली पट्टी था, जबकि असल ग्राफिक्स में ऐसा नहीं है. वहीं, वायरल ग्राफिक्स में मौजूद टेक्स्ट में व्याकरण संबंधी कुछ त्रुटियां भी हैं, जो आमतौर पर किसी बड़े मीडिया आउटलेट के ग्राफिक्स में देखने को नहीं मिलती हैं. आप नीचे मौजूद ग्राफिक्स में यह अंतर देख सकते हैं.

पड़ताल के दौरान हमने एनडीटीवी के यूट्यूब अकाउंट पर 1 नवंबर 2025 को लाइव किए गए अमित शाह के इस इंटरव्यू का पूरा वीडियो देखा. इस दौरान अमित शाह ने एनडीटीवी के एंकर राहुल कंवल द्वारा माओवाद, बिहार में घुसपैठ, आर्थिक अपराध, बिहार चुनाव, राजद नेता तेजस्वी यादव द्वारा किए गए वादे और जंगलराज जैसे मुद्दों को लेकर पूछे गए सवालों पर जवाब दिया था. हालांकि, इस दौरान उन्होंने ऐसा कोई बयान नहीं दिया था, जैसा वायरल ग्राफिक्स में मौजूद है.

हमें एनडीटीवी की वेबसाइट पर 3 नवंबर 2025 को प्रकाशित एक रिपोर्ट भी मिली. इस रिपोर्ट में एनडीटीवी ने वायरल ग्राफिक्स को फर्जी बताया है. अंग्रेजी में प्रकाशित इस आर्टिकल में लिखा गया है, जिसका हिंदी अनुवाद है, “अमित शाह की तस्वीर और उनके नाम से जोड़कर यह बयान जो सोशल मीडिया पर एनडीटीवी इंडिया की ब्रांडिंग और एनडीटीवी बिहार पावरप्ले कॉन्क्लेव के संदर्भ के साथ प्रसारित किया जा रहा है. यह डिजिटल रूप से फर्जी है. गृह मंत्री ने ऐसा बयान इस सम्मेलन में नहीं दिया था”.

इसके अलावा, हमें किसी अन्य मीडिया रिपोर्ट्स में भी अमित शाह के ऐसे किसी बयान का ज़िक्र नहीं मिला.
हमारी जांच में मिले साक्ष्यों से यह स्पष्ट है कि अमित शाह ने सोशल मीडिया पर मौजूद सभी पार्टी कार्यकर्ताओं पर ऐसा कोई बयान नहीं दिया है. वायरल ग्राफिक्स एडिटेड है. एनडीटीवी ने भी इसका खंडन किया है.
Our Sources
Thread Posted by NDTV india X account on 1st Nov 2025
Article published by NDTV on 3rd Nov 2025
फैक्ट-चेक और लेटेस्ट अपडेट्स के लिए हमारा WhatsApp चैनल फॉलो करें: https://whatsapp.com/channel/0029Va23tYwLtOj7zEWzmC1Z
Runjay Kumar
December 1, 2025
Runjay Kumar
November 29, 2025
Runjay Kumar
November 28, 2025