मंगलवार, नवम्बर 19, 2024
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इंडिया टुडे ने RSS चीफ मोहन भागवत के बयान को गलत दावे के साथ किया प्रकाशित

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A self-taught social media maverick, Saurabh realised the power of social media early on and began following and analysing false narratives and ‘fake news’ even before he entered the field of fact-checking professionally. He is fascinated with the visual medium, technology and politics, and at Newschecker, where he leads social media strategy, he is a jack of all trades. With a burning desire to uncover the truth behind events that capture people's minds and make sense of the facts in the noisy world of social media, he fact checks misinformation in Hindi and English at Newschecker.

इंडिया टुडे ने अपने एक लेख में दावा किया कि आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा है कि अगर मुस्लिमों को भारत में रहना है तो हिन्दुओं की सर्वोच्चता स्वीकार करनी पड़ेगी.

https://archive.vn/OM0k5

अक्सर देखा जाता है कि कई गंभीर मुद्दों पर राजनेताओं द्वारा की गई बयानबाजी को मीडिया अपने हिसाब से तोड़-मरोड़कर जनता के सामने प्रस्तुत करता है। कुछ ऐसा ही वाकया राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत के साथ हुआ है। दरअसल मोहन भागवत ने हाल ही में ‘विवेक’ नामक एक मराठी पत्रिका को इंटरव्यू दिया था. इंटरव्यू के दौरान मोहन भागवत से अर्थव्यवस्था सहित अयोध्या और मथुरा विवाद, भारत में मुस्लिमों की स्थिति से संबंधित कई सवाल पूछे गए. सवालों का जवाब देने के दौरान मोहन भागवत ने भारत में मुस्लिमों की स्थिति को लेकर एक बयान दिया जिसे इंडिया टुडे ने अपने एक लेख में प्रकाशित किया है.

इंडिया टुडे अपने लेख में यह दावा करता है कि मोहन भागवत ने कहा कि भारत में रह रहे मुस्लिमों को हिन्दुओं की श्रेष्ठता स्वीकार कर लेनी चाहिए. सत्तारूढ़ भाजपा के ऊपर हमेशा से यह आरोप लगते रहे हैं कि वह आरएसएस की विचारधारा से प्रभावित है, ऐसे में भागवत का यह बयान काफी महत्वपूर्ण है। साथ ही यदि यह सत्यता की कसौटी पर खरा उतरता है तो काफी आपत्तिजनक भी है. मामले की गंभीरता को देखते हुए हमने इंडिया टुडे द्वारा किये गए दावे की पड़ताल शुरू की. बता दें Muck Rack नामक एक वेबसाइट के अनुसार इस लेख पर अब तक 6,093 लोगों ने अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. 

Muck Rack Analysis
Muck Rack analysis report

दावे की पड़ताल के पहले चरण में हमने जब इंडिया टुडे के लेख को पूरा पढ़ा तो पता चला कि इंडिया टुडे ने भागवत द्वारा ‘विवेक’ नामक एक पत्रिका को दिए गए इंटरव्यू के आधार पर उनका बयान प्रकाशित किया है.

Article Published by India Today
Article published by India Today

इसके बाद हमने विवेक नामक पत्रिका के वेबसाइट का रुख किया जहां हमें मोहन भागवत का पूरा इंटरव्यू मिला. बता दें कि विवेक नामक पत्रिका ने भागवत के इंटरव्यू को मराठी भाषा में प्रकाशित किया है। लेकिन उक्त लेख का अंग्रेजी में अनुवाद करने पर पता चलता है कि भागवत ने इस तरह का कोई बयान नहीं दिया है। उन्होंने यह बताया है कि कैसे भारत में मुस्लिमों को कभी नीचा नहीं  दिखाया जाता तथा कैसे मुस्लिमों को हिन्दुओं की श्रेष्ठता स्वीकार नहीं करनी पड़ती. भागवत ने अपने इंटरव्यू के दौरान यह भी बताया कि पूरे विश्व में भारत ही एक मात्र ऐसा देश है जहां सभी धर्मों के लोगों को संविधान द्वारा समान अधिकार प्रदत्त हैं.

Article Published by Vivek
Report published by ‘Vivek Saptahik’

वेबसाइट पर ही हमें विवेक नामक पत्रिका का यूट्यूब चैनल भी मिला जहां भागवत का पूरा इंटरव्यू कई हिस्सों में प्रकाशित किया गया है.

YT SS
Videos published by ‘Vivek Saptahik’

उपरोक्त वीडियोज में हमें इंटरव्यू का वह हिस्सा भी मिला जिसे इंडिया टुडे ने अपने लेख में प्रकाशित किया है. बता दें कि भागवत ने पूरे इंटरव्यू के दौरान हिंदी भाषा का प्रयोग किया है तथा कहीं पर भी मुस्लिमों को दोयम दर्जे का नागरिक नहीं बताया है. वीडियो में 2.37 सेकण्ड्स के बाद संविधान और मुस्लिमों की बात करते हुए भागवत कहते हैं कि पूरे विश्व में भारत ही एक ऐसा देश है जहां अन्य धर्मों के लोगों को भी संविधान द्वारा समान अधिकार दिए गए हैं. भागवत आगे कहते हैं कि जब देश का बंटवारा हुआ तो धर्म के आधार पर पाकिस्तान बनाया गया, लेकिन कभी किसी भारतीय हिन्दू ने किसी भारतीय मुस्लिम से यह नहीं कहा कि तुम यहां से चले जाओ या फिर हिन्दुओं की श्रेष्ठता स्वीकार कर लो.

गौरतलब है कि भागवत के पूरे इंटरव्यू को सुनने के बाद हमें पता चला कि इंडिया टुडे ने उनके बयान को गलत तरीके से पेश किया है तथा उनके द्वारा कही गई बातों का गलत अर्थ प्रकाशित किया है. बता दें कि इंडिया टुडे ने यह लेख लिखे जाने तक अपना लेख अपडेट कर भ्रामक हिस्से को हटा लिया है, लेकिन यह सूचना नहीं दी है कि लेख में क्या परिवर्तन किये गए हैं. बता दें कि इंडिया टुडे द्वारा प्रकाशित यह लेख पहले भी अपडेट किया जा चुका है.

Comparison
Comparison between the two versions of the article

इंडिया टुडे द्वारा प्रकाशित प्रारंभिक रिपोर्ट और अपडेटेड रिपोर्ट यहां पढ़ी जा सकती है.

प्रारंभिक रिपोर्ट: https://archive.vn/eqkKr

अपडेटेड रिपोर्ट: https://archive.vn/3cYAv

हालांकि इंडिया टुडे द्वारा प्रकाशित उक्त आर्टिकल का यूआरएल अभी भी उनके द्वारा फैलाये गए भ्रम से पर्दा उठाता है.

URL
URL of the India Today article

यह पहला मौका नहीं है जब मोहन भागवत द्वारा दिए गए बयान को तोड़ मरोड़कर पेश किया गया बल्कि पहले भी उनके साथ ऐसा किया जा चुका है. इस विषय पर हमारा लेख नीचे यहां जा सकता है.

मीडिया द्वारा भ्रामक रिपोर्ट्स को बिना किसी सूचना के अपडेट करने की यह घटना भी कोई अनोखी घटना नहीं है बल्कि पूर्व में हमारे द्वारा ऐसी कई भ्रामक रिपोर्ट्स का पर्दाफाश किया जा चुका है. हमारी रिपोर्ट यहां और यहां पढ़ें।

इस प्रकार हमारी पड़ताल में यह बात साबित हो जाती है कि इंडिया टुडे द्वारा मोहन भागवत के बयान को लेकर प्रकाशित यह रिपोर्ट भ्रामक है.

Result: Misleading


Sources: YouTube video published by ‘Vivek’


किसी संदिग्ध ख़बर की पड़ताल, संशोधन या अन्य सुझावों के लिए हमें WhatsApp करें: 9999499044  या ई-मेल करें: checkthis@newschecker.in

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A self-taught social media maverick, Saurabh realised the power of social media early on and began following and analysing false narratives and ‘fake news’ even before he entered the field of fact-checking professionally. He is fascinated with the visual medium, technology and politics, and at Newschecker, where he leads social media strategy, he is a jack of all trades. With a burning desire to uncover the truth behind events that capture people's minds and make sense of the facts in the noisy world of social media, he fact checks misinformation in Hindi and English at Newschecker.

Saurabh Pandey
A self-taught social media maverick, Saurabh realised the power of social media early on and began following and analysing false narratives and ‘fake news’ even before he entered the field of fact-checking professionally. He is fascinated with the visual medium, technology and politics, and at Newschecker, where he leads social media strategy, he is a jack of all trades. With a burning desire to uncover the truth behind events that capture people's minds and make sense of the facts in the noisy world of social media, he fact checks misinformation in Hindi and English at Newschecker.

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