Authors
After completing his post-graduation, Yash worked with some of the most renowned newspapers such as like Lokmat, Dainik Bhaskar & Navbharat for the past 6 years. To make sure that no incorrect news reaches people and to maintain peace and harmony in society, he chose to become a fact-checker.
Claim
बाढ़ पीड़ितों की मदद कर रहे एनसीपी नेता को बीजेपी ने किया बदनाम। वायरल कर दी फोटोशाॅप्ड तस्वीर।
Verification
पश्चिमी महाराष्ट्र के सांगली और कोल्हापुर में पिछले कृष्णा और कोयना नदियों में बाढ़ आने से लाखों लोग प्रभावित हुए हैं। पिछले पांच दिनों से जनजीवन ठप पड़ा है। हजारों लोग गावों में फंसे हुए है। ऐसे में प्रशासन सहित कई संगठन और राजनेता उनकी मदद के लिए आगे आए हैं। इसी दौरान राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) प्रदेशाध्यक्ष जयंत पाटिल द्वारा बाढ़ पीडितों के लिए जरूरी चीजों के बाॅक्स पर अपनी फोटो लगाकर विज्ञापनबाजी करने का आरोप सोशल मीडिया में लगाया जा रहा है।
इसके जबाव में एनसीपी के मुंबई अध्यक्ष नवाब मलिक ने आरोप लगाया है कि बीजेपी की आईटी टीम ने फोटोशाॅप्ड तस्वीर ट्वीट कर एनसीपी को बदनाम करने की कोशिश की है। बाढ़ संकट को लेकर बीजेपी सरकार अपनी नाकामयाबी छिपाने के लिए आईटी सेल की मदद ले रही है।
भाजपा का झूठा प्रचार फोटोशॉप pic.twitter.com/QDQJwhDbHd
— Nawab Malik (@nawabmalikncp) August 10, 2019
नवाब मलिक के ट्वीट को लेकर मुंबई मिरर ने खबर छापी है। इसमें लिखा गया है कि राष्ट्रवादी कांग्रेस ने बीजेपी पर जयंत पाटिल की फोटो माॅर्फ करने का आरोप लगाया है।
एनसीपी नेता द्वारा ट्वीट किए गए इस फोटो की सच्चाई जानने के लिए हमनें पड़ताल शुरू की। बीजेपी महाराष्ट्र के ट्विटर हैंडल पर जयंत पाटिल को लेकर वही ट्वीट देखने को मिला जिसे नवाब मलिक ने फोटोशाॅप्ड कहा था। ट्वीट मे शेयर की गई फोटो में जयंत पाटिल बाढ़ पीड़ितों को जरुरी सामान बांटते दिखाई दे रहे हैं। उनके पास कई बाॅक्स पड़े है जिन पर उनकी फोटो और नाम वाले स्टीकर लगे हैं। बीजेपी ने ट्वीट में फोटो को लेकर लिखा है कि कृपया आपातकालिन स्थिति में गंदी राजनीति न करें।
याला म्हणतात “स्वतःचे ठेवायचे झाकून आणि दुसऱ्याचे बघायचे वाकून!”
आपत्कालीन परिस्थितीत घाणेरडे राजकारण बंद करा!!@PawarSpeaks @supriya_sule @Jayant_R_Patil #MaharashtraFloods pic.twitter.com/yiKtrb2wIT
— भाजपा महाराष्ट्र (@BJP4Maharashtra) August 10, 2019
जयंत पाटिल को इस फोटो को लेकर सोशल मीडिया में ट्रोल होना पड़ा। इस बारे में लोकमत ने भी खबर छापी थी।
खबर में लिखा है कि सिर्फ बीजेपी के ही नहीं बल्कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता भी बाढ़ पीड़ितों को मदद करते समय विज्ञापनबाजी कर रहे हैं। बाढ़ पीड़ितों के लिए दिए जाने वाले पैकेट्स पर जयंत पाटिल ने अपने स्टीकर लगाए। खबर में आगे लिखा है कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस के बाद अब एनसीपी नेता पाटिल को सोशल मीडिया में ट्रोल किया जा रहा है।
जयंत पाटिल की फोटो मीडिया में आने के बाद एनसीपी ने पाटिल को राजीतिक उद्देश्य से बीजेपी द्वारा बदनाम करने का आरोप लगाया। लेकिन इस बारे में जयंत पाटिल द्वारा सफाई दिए जाने का बयान सकाल नामक मराठी समाचार पत्र ने छापा है। सकाल की खबर के मुताबिक जयंत पाटिल ने बताया कि 1 अगस्त को राजाराम बापू पाटिल की जन्मशताब्दि के मौके पर यह बाॅक्स स्कूलों में मिठाई बांटने के लिए लाए थे काफी बाॅक्स खाली पड़े थे। लेकिन सांगली में बाढ़ की स्थिति बनी तो पीड़ितों को सामान बाटने के लिए बाॅक्स नहीं मिले तो इन्हीं बचे हुए बाॅक्स का इस्तेमाल किया गया। हमारा विज्ञापनबाजी करने का कोई उद्देश्य नहीं है। हमें और बाढ़ पीड़ितो तक सामान पहुंचाने के लिए और बाॅक्स चाहिए।
जयंत पाटिल ने इस बारे में ट्वीट भी किया है।
या पूरपरिस्थितीत आम्हाला कुठेही बॉक्स व पॅकिंग साठी इतर साहित्य मिळत नव्हते, त्यामुळेच आम्ही हे बॉक्स वापरले. यात मदत देताना प्रसिद्धी करण्याचा अजिबात उद्देश नाही. अजूनही आम्हाला बॉक्सची कमतरता आहे तरी ज्यांना शक्य असेल त्यांनी बॉक्स व पॅकिंग मटेरियल पाठवावे.
— Jayant Patil (@Jayant_R_Patil) August 10, 2019
इससे साफ होता है कि एनसीपी नेता नवाब मलिक का दावा गलत है। जयंत पाटिल की फोटोशाॅप्ड नहीं बल्कि ओरिजनल फोटो सोशल मीडिया में वायरल हुई है।
Tools Used
- Twitter Advanced Search
- Google keyword Search
Result
False
Authors
After completing his post-graduation, Yash worked with some of the most renowned newspapers such as like Lokmat, Dainik Bhaskar & Navbharat for the past 6 years. To make sure that no incorrect news reaches people and to maintain peace and harmony in society, he chose to become a fact-checker.