शुक्रवार, मार्च 29, 2024
शुक्रवार, मार्च 29, 2024

होमहिंदीपाकिस्तानी वैज्ञानिक की तस्वीर को सोशल मीडिया पर शेयर कर बताया गया...

पाकिस्तानी वैज्ञानिक की तस्वीर को सोशल मीडिया पर शेयर कर बताया गया आतंकवादी

Authors

A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

Claim-
मिलिए मोहम्मद सादिक मियाँ से,आपको जानकर आश्चर्य होगा कि मोहम्मद सादिक किसी मदरसे से पढ़कर खतरनाक आतंकवादी नहीं बने बल्कि केमिस्ट्री में PhD हैं। जनाब ने “फेंटानाइल हाइड्रोक्लोराइड” नामक ऐसा घातक रासायनिक हथियार बनाया जिससे कम से कम 50 लाख लोगों की हत्या करना चाहते थे।
Verification- 
सोशल मीडिया में एक तस्वीर बड़ी तेजी से वायरल हो रही है। तस्वीर के साथ एक दावा भी वायरल हो रहा है। पोस्ट शेयर करने वाले यूजर का दावा है कि तस्वीर में नजर आ रहा व्यक्ति मोहम्मद सादिक है जिसने केमिस्ट्री से पीएचडी कर ऐसे रासायनिक हथियार का आविष्कार किया है, जो एक साथ 50 लाख लोगों को मारने की क्षमता रखता है।
वायरल हो रहे दावे का सच जानने के लिए सबसे पहले मोहम्मद सादिक नाम से गूगल पर खंगाला। इस दौरान सुदर्शन टीवी नामक वेबसाइट पर प्रकाशित एक खबर से इंदौर में रहने वाले मोहम्मद सादिक नामक युवक की खबर प्राप्त हुई।
लेख के अनुसार सादिक ने एक ऐसे रासायनिक हथियार का आविष्कार किया है जिससे 50 लाख लोगों को एक साथ मारा जा सकता है। लेख के तथ्यों को गूगल में बारीकी से खोजा किंतु यह खबर किसी अन्य प्रतिष्ठित समाचार माध्यम पर प्राप्त नहीं हुई।
उपरोक्त दावे के साथ वायरल हो रही व्यक्ति की तस्वीर को गूगल पर खंगाला। खोज के दौरान हमें एक पाकिस्तानी THE Express Tribune नामक समाचार वेबसाइट पर वायरल तस्वीर प्राप्त हुई।
वेबसाइट पर तस्वीर के संबंध में प्रकाशित लेख के मुताबिक वायरल तस्वीर पाकिस्तान के मशहूर वैज्ञानिक समीर इक़बाल की है। उन्होंने कैंसर के शीघ्र इलाज के लिए एक यंत्र का अविष्कार किया है। हमने समीर इक़बाल के बारे में और बारीकी से खोजा। यूट्यूब पर एक वीडियो में वे कैंसर की जानकारी देते नजर आ रहे हैं।
इसके साथ ही हमें linkdin पर उनकी आईडी भी प्राप्त हुई।
हमारी पड़ताल में साबित हो गया कि सोशल मीडिया में किया जा रहा दावा फेक है।
Tools Used 
  • Google Search
  • Youtube Search
  • Linkedin
Result- False

Authors

A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

Nupendra Singh
Nupendra Singh
A rapid increase in the rate of fake news and its ill effect on society encouraged Nupendra to work as a fact-checker. He believes one should always check the facts before sharing any information with others. He did his Masters in Journalism & Mass Communication from Lucknow University.

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

Most Popular