Authors
An Electronics & Communication engineer by training, Arjun switched to journalism to follow his passion. After completing a diploma in Broadcast Journalism at the India Today Media Institute, he has been debunking mis/disinformation for over three years. His areas of interest are politics and social media. Before joining Newschecker, he was working with the India Today Fact Check team.
बीते हफ्ते सोशल मीडिया में तुर्की-सीरिया में आया विनाशकारी भूकंप छाया रहा. भूकंप के झटकों से थरथराकर गिरती इमारतों के कई वीडियो वायरल हुए. इसी की आड़ में इमारतों के गिरने के पुराने वीडियो भी तुर्की-सीरिया भूकंप से जोड़कर शेयर किए गए. पिछले कई दिनों से चल रहे हिंडनबर्ग-अडानी मामले को लेकर भी एक फर्जी खबर वायरल हुई. कुछ भ्रामक सांप्रदायिक पोस्ट भी शेयर हुए जिनका फैक्ट चेक हमारी इस रिपोर्ट में पढ़ा जा सकता है।
सऊदी अरब में गिरी इमारत के पुराने वीडियो को तुर्की में आए भूकंप से जोड़कर किया जा रहा शेयर
तुर्की-सीरिया में आए भूकंप से जोड़कर एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें एक बहुमंजिला इमारत सेकंडों में ढेर होती दिख रही है. दावा हुआ कि यह बिल्डिंग तुर्की में आए भूकंप से गिर गई, लेकिन जब हमने जांच की तो वीडियो सऊदी अरब के जेद्दाह शहर का निकला. इसके अलावा, वीडियो जनवरी 2023 से ही इंटरनेट पर मौजूद है और इसका तुर्की भूकंप से कोई संबंध नहीं है. पूरी खबर यहां पढ़ी जा सकती है.
फ्लोरिडा में एक इमारत के गिरने का पुराना वीडियो तुर्की में आए भूकंप का बताकर किया जा रहा शेयर
इसी तरह अमेरिका के फ्लोरिडा के एक वीडियो को तुर्की-सीरिया के भूकंप का बताकर वायरल किया गया. वीडियो में एक इमारत गिरती दिख रही है. जब हमने जांच की तो पता चला कि वीडियो जून 2021 का है और फ्लोरिडा के मियामी बीच के पास एक 12 मंजिला टॉवर के गिरने का है. फैक्ट चेक यहां पढ़ा जा सकता है.
हिलते वाहनों को दिखाता ये वीडियो जापान का है, तुर्की में आए भूकंप से नहीं है कोई संबंध
इसी कड़ी में सड़क पर खड़े हिलते वाहनों का एक वीडियो जमकर शेयर किया गया. दावा हुआ कि तुर्की में आए भूकंप को सड़क पर खड़ी एक कार के कैमरे ने रिकॉर्ड कर लिया. खोजने पर पता चला कि वीडियो 2011 का है और जापान का है. पूरा फैक्ट चेक यहां यहां पढ़ा जा सकता है.
क्या राहुल गांधी के साथ तस्वीर में नजर आ रहे व्यक्ति हिंडनबर्ग के संस्थापक नाथन एंडरसन हैं?
अमेरिकी रिसर्च कंपनी हिंडनबर्ग के खुलासे के बाद उद्योगपति गौतम अडानी पर विपक्ष लगातार हमलावर है. इसी के मद्देनजर सोशल मीडिया पर राहुल गांधी की एक व्यक्ति के साथ की तस्वीर वायरल हुई. दावा हुआ कि राहुल गांधी के साथ खड़ा यह व्यक्ति हिंडनबर्ग के चीफ नाथन एंडरसन हैं. कहा गया कि हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के पीछे कांग्रेस का हाथ है. दावा गलत निकला, क्योंकि राहुल गांधी के साथ खड़े यह व्यक्ति जर्मनी के एक नेता नील्स एनन हैं. पूरी खबर यहां पढ़ी जा सकती है.
छेड़छाड़ के आरोपी की पिटाई का तीन साल पुराना वीडियो झूठे सांप्रदायिक दावे के साथ हुआ वायरल
पिछले हफ्ते सोशल मीडिया पर एक झूठा सांप्रदायिक दावा भी काफी वायरल हुआ. दावे के अनुसार, यूपी के मेरठ में महिलाओं से छेड़छाड़ करने पर शाहरुख नाम के एक शख्स को कुछ महिलाओं ने नग्न कर पीटा. हमारी जांच में सामने आया कि ना ही यह वीडियो मेरठ का है और ना ही छेड़छाड़ के आरोपी का नाम शाहरुख है. मामला 2020 का है और हरियाणा के अंबाला का है. खबरों में आरोपी का नाम पवन बताया गया है. पूरी खबर यहां पढ़ी जा सकती है.
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An Electronics & Communication engineer by training, Arjun switched to journalism to follow his passion. After completing a diploma in Broadcast Journalism at the India Today Media Institute, he has been debunking mis/disinformation for over three years. His areas of interest are politics and social media. Before joining Newschecker, he was working with the India Today Fact Check team.