मंगलवार, अप्रैल 30, 2024
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Fact Check: क्या 1987 में दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल बलात्कार के आरोप में जेल गए थे? नहीं, यह दावा फ़र्ज़ी है

Authors

Since 2011, JP has been a media professional working as a reporter, editor, researcher and mass presenter. His mission to save society from the ill effects of disinformation led him to become a fact-checker. He has an MA in Political Science and Mass Communication.

Claim
आई.आई.टी. खड़गपुर में पढ़ने के दौरान 1987 में अरविंद केजरीवाल बलात्कार के आरोप में जेल गए थे। 
Fact
यह दावा फ़र्ज़ी है। ‘द टेलीग्राफ’ अखबार की कटिंग को ऑनलाइन न्यूज पेपर क्लिप जेनरेटर की मदद से बनाया गया है।

कथित आबकारी नीति घोटाले मामले में 21 मार्च 2024 को ED द्वारा दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को गिरफ़्तार कर लिया गया था, जिसके बाद से अरविन्द केजरीवाल सुर्ख़ियों में बने हुए हैं। इसी बीच सोशल मीडिया पर एक पोस्ट को शेयर कर दावा किया जा रहा है कि अरविंद केजरीवाल जब आईआईटी खड़गपुर में इंजीनियरिंग कर रहे थे, तब 1987 में वे बलात्कार के आरोप में जेल गए थे।

पोस्ट के कैप्शन में लिखा गया है कि ”अरविंद केजरीवाल* 1985 से 1989 तक आईआईटी खड़गपुर में इंजीनियरिंग कर रहे थे। वह दूसरे वर्ष की शुरुआत में जून 1987 में थे, तो उन्होंने स्थानीय लड़की के साथ बलात्कार किया मामला दर्ज किया गया और उन्हें जेल में डाल दिया गया। उसके लिए जेल कोई नई बात नहीं है। वह एक बड़ा झूठा है। ”

कई ऐसे सोशल मीडिया पोस्ट्स का आर्काइव यहाँ और यहाँ देखा जा सकता है।

Courtesy: X/@Mukesh69972949

यह दावा हमें WhatsApp Tip Line (9999499044) पर भी प्राप्त हुआ है।

Courtesy: Whatsapp User

Fact Check/Verification

जांच की शुरुआत में हमने इस दावे से जुड़ी रिपोर्ट्स को कीवर्ड्स की मदद से खोजा, लेकिन इस दावे को सत्यापित करती कोई भी मीडिया रिपोर्ट हमें नहीं मिली। गौरतलब है कि साल 2020 में दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले भी यह दावा सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। उस समय Newschecker द्वारा किए गए फैक्ट चेक को यहां पढ़ा जा सकता है।

अखबार की कटिंग को गौर से देखने पर पता चलता है कि ‘द टेलीग्राफ’ की कथित रिपोर्ट में एक जगह ‘टाइम्स ऑफ़ इंडिया’ भी लिखा हुआ है (… हॉस्टल के वार्डेन ने Times of India को बताया …) जो इसकी विश्वसनीयता पर संशय पैदा करता है।

Courtesy: X/@Mukesh69972949

जांच के दौरान गौर करने पर पता चलता है कि अखबार की कटिंग में कई विसंगतियां हैं। जैसे, ‘डेट लाइन’ का गलत होना और कई शब्दों के बीच सामान्य से ज्यादा जगह का खाली होना। इन कारणों से इस क्लिप के किसी टूल की मदद से बनाये जाने का शक बढ़ जाता है।

Courtesy: X/@Mukesh69972949

अब हमने एक ऑनलाइन न्यूजपेपर क्लिप जेनरेटर की मदद से ऐसी ही अखबार की क्लिपिंग बनाने की कोशिश की। हमने देखा कि वहां पर बनायी गयी अखबार की क्लिप बिल्कुल वायरल क्लिप जैसी दिख रही है। गौर करने वाली बात यह है कि ऑनलाइन न्यूज़पेपर क्लिप जेनेरेटर के तीसरी कॉलम के सभी शब्द समान हैं, जिससे यह स्पष्ट हो जाता है कि वायरल क्लिप भी ऑनलाइन न्यूजपेपर क्लिप जेनरेटर की मदद से ही बनायी गयी है।

Courtesy: Online Newspaper Clip Generator.

Conclusion

अपनी जांच से हम इस निष्कर्ष पर पहुंचे कि 1987 में अरविंद केजरीवाल का बलात्कार के आरोप में जेल जाने का दावा फ़र्ज़ी है। दावे के साथ शेयर की गयी ‘द टेलीग्राफ’ अखबार की कटिंग को ऑनलाइन न्यूजपेपर क्लिप जेनरेटर की मदद से बनाया गया है।

Result: False

Sources
Website of Online Newspaper Clip Generator.

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Since 2011, JP has been a media professional working as a reporter, editor, researcher and mass presenter. His mission to save society from the ill effects of disinformation led him to become a fact-checker. He has an MA in Political Science and Mass Communication.

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